Leopards were seen fearless in Indore IIT wild life

आईआईटी परिसर में तेंदुआ।
– फोटो : अमर उजाला, इंदौर

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इंदौर के आसपास तेंदुओं का मूवमेंट तेजी से बढ़ता जा रहा है। पिछले दिनों महू, चोरल के जंगलों में तेंदुए के दिखने के बाद अब आईआईटी इंदौर परिसर में तेंदुए का मूवमेंट बढ़ गया है। पिछले दिनों यहां पर तीन तेंदुओं का मूवमेंट नजर आया है। तेंदुए को पकड़ने के लिए वन विभाग ने आईईटी परिसर में दो पिंजरे लगाए हैं लेकिन अभी तक तेंदुआ उसमें नहीं फंसा है। 

वाइल्ड लाइफ फोटोग्राफर ने शेयर किया वीडियो

वाइल्ड लाइफ फोटोग्राफर एण्ड रिसर्चर (आईआईटी, मुंबई एल्युमनस) ने इंस्टाग्राम पर परिसर में तेंदुए के मूवमेंट का वीडियो शेयर किया है। इसमें बताया गया है कि यहां पर तीन तेंदुए हैं। तीनों को ही अलग-अलग परिस्थितियों में देखा गया है। इनमें से एक तेंदुए का मूवमेंट गेस्ट हाउस के पास था, जबकि दो तेंदुए सड़क से जाते हुए दिखाई दिए थे। इसके बाद आईआईटी ने वन विभाग को भी सूचना दी है। 

आईआईटी ने नहीं दी जानकारी

इस विषय में आईआईटी ने जानकारी देने से मना कर दिया है। आईआईटी ने गोपनीयता का हवाला देते हुए वन विभाग के पिंजरों से संबंधित सीसीटीवी फुटेज नहीं दिए हैं। जिससे स्पष्ट नहीं हो सका है कि वहां कितने तेंदुओं का मूवमेंट है।

बकरी के पास आकर लौट जाता है तेंदुआ

डीएफओ महेंद्रसिंह सोलंकी का कहना है कि जहां तक अनुमान है वहां एक ही तेंदुआ है। आईआईटी परिसर में जहां तेंदुए का मूवमेंट है वहां दो पिंजरे अलग-अलग स्थानों पर लगाए गए हैं। पिंजरे में बकरियां बांधी गई हैं। तेंदुआ बकरी के पास आता है और कुछ देर बाद लौट जाता है। उसका मूवमेंट पता चल रहा है। हमने आईआईटी से उक्त सीसीटीवी फुटेज मंगवाए हैं, लेकिन प्रबंधन ने गोपानीयता का हवाला देकर फुटेज नहीं दिए। हाल ही में एसडीओ ने भी इस संबंध में आईआईटी को पत्र लिखा है ताकि तेंदुए को पकड़ने की दिशा तय हो सके। विभाग का मानना है कि हो सकता है यह तेंदुआ एक ही हो, क्योंकि एक साथ तीन तेंदुए का मूवमेंट कम ही संभव है। 

तीन तेंदुओं की थ्योरी कैसे सामने आई

अपलोड वीडियो में बताया गया कि तेंदुओं का मूवमेंट विंध्याचल गेस्ट हाउस, शिप्रा फैकल्टी हाउस तथा डायरेक्टर के रेसीडेंस के पास देखा गया है। खास बात यह कि तीनों तेंदुए एक घंटे में ही इन अलग-अलग स्थानों पर देखे गए हैं। ये फुटेज 22 अक्टूबर के हैं। इसके बाद से 23 अक्टूबर की देर शाम इन्हीं में से एक तेंदुआ दिखा और फिर दूसरे दिन एक और तेंदुआ नजर आया। इनमें से एक ने रोड क्रॉस किया, फिर दोनों तेंदुओं ने भी उसके पीछे रोड क्रॉस किया।

यह कहते हैं वाइल्ड लाइफ एक्सपर्ट

वाइल्ड लाइफ एक्सपर्ट दिनेश कोठारी कहते हैं कि तेंदुआ कभी एक साथ या समूह के रूप में नहीं घूमता। यह स्वभाव से एकांकी होता है। तेंदुआ सिर्फ दो ही स्थितियों में दो या इससे अधिक संख्या में होता है। या तो मादा तेंदुआ और शावक छोटे होने पर उसके साथ हो। दूसरा या फिर मेटिंग के समय उसके साथ एक साथ उससे ज्यादा मेल हो। 

निर्माण कार्य की वजह से तेंदुए आने की संभावना बढ़ी

वन्य क्षेत्र होने से पहले भी आईआईटी और इसके आसपास के क्षेत्र में तेंदुए का मूवमेंट रहा है। चूंकि अभी खंडवा-इच्छापुर रोड का सिक्स लेन चौड़ी-करण का काम चल रहा है इसलिए संभावना है कि इनका रुख इधर बढ़ गया हो। 



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