MP Election 2023: Saint Awadheshpuri Maharaj will contest independent election against BJP from Ujjain South

उज्जैन दक्षिण से निर्दलीय चुनाव लड़ेंगे संत अवधेशपुरी महाराज
– फोटो : अमर उजाला

विस्तार


वर्ष 2008 हो, 2013 हो या 2018 हो, अब तक उज्जैन दक्षिण विधानसभा क्षेत्र कांग्रेस पार्टी के लिए काफी पेचीदा नजर आता था। लेकिन विधानसभा चुनाव 2023 में भारतीय जनता पार्टी इस विधानसभा क्षेत्र से मुश्किल में नजर आ रही है। वजह यह कि सनातन की बात करने वाली इस पार्टी के खिलाफ कांग्रेस नहीं, बल्कि चुनावी मैदान में खुद सनातनी उतरने वाले हैं। जो कि आने वाले दिनों में भाजपा प्रत्याशी डॉ. मोहन यादव की मुश्किल बढ़ाएंगे। निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ने वाले संत डॉ. अवधेशपुरी महाराज 30 अक्टूबर 2023 को अपना नामांकन दर्ज करवाएंगे, जिसके लिए उन्होंने तैयारियां पूरी कर ली हैं।

भारतीय जनता पार्टी अब तक सनातन की बात कर जनता से वोट मांगती रही है। लेकिन इस बार उज्जैन दक्षिण विधानसभा क्षेत्र से संत डॉ. अवधेशपुरी महाराज ने निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ने का मन बना लिया है। उनका कहना है कि धार्मिक नगरी उज्जैन से उत्तर या दक्षिण दोनों विधानसभा में से एक पर भारतीय जनता पार्टी को किसी साधु-संत को अपना उम्मीदवार जरूर बनाना चाहिए था। इसके लिए उन्होंने आरएसएस प्रमुख डॉ. मोहन भागवत और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को एक पत्र भी लिखा था। लेकिन इसके बावजूद भी उन्हें पार्टी ने किसी भी विधानसभा से मौका नहीं दिया। डॉ. अवधेशपुरी का कहना है कि निर्दलीय चुनाव लड़ने के पहले मैंने सभी संतो से गहन मंत्रणा की। जब सभी का आशीर्वाद मुझे प्राप्त हुआ। उसके बाद ही मैंने उज्जैन दक्षिण से निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ने की घोषणा की है।

जब साधु-संत डॉ. अवधेशपुरी के साथ तो भाजपा का क्या होगा?

जानकारी के मुताबिक, उज्जैन दक्षिण से निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ने के पहले डॉ. अवधेशपुरी ने महामंडलेश्वर और साधु-संतों से आशीर्वाद लिया है जिसको लेकर एक चिंतन बैठक चारधाम मंदिर पर आयोजित की गई थी। इस बैठक में चारधाम मंदिर के महामंडलेश्वर स्वामी शांतिस्वरूपानंद महाराज, महामंडलेश्वर ज्ञानदास महाराज, विद्यापुरी महाराज, नारायण स्वामी और कमलेश ब्रह्मचारी के साथ ही अन्य साधु-संत भी बड़ी संख्या में मौजूद रहे थे। उन्होंने एक स्वर में डॉ. अवधेशपुरी महाराज को यह चुनाव लड़ने के लिए अपना समर्थन और आशीर्वाद प्रदान किया।

अब सोचने वाली बात यह है कि अगर सभी साधु-संत डॉ. अवधेशपुरी के साथ हैं। फिर उज्जैन दक्षिण विधानसभा क्षेत्र में इस बार भारतीय जनता पार्टी जो कि धर्म और सनातन के नाम पर वोट मांगती है, उसके प्रत्याशी का इस बार क्या होगा?

इन मुद्दों पर चुनाव लड़ेंगे डॉ. अवधेशपुरी महाराज

सिंहस्थ भूमि का अवैध अतिक्रमण, उज्जैन पवित्र नगरी घोषित होना, क्षिप्रा शुद्धिकरण, महाकाल में दर्शन शुल्क व वीआईपी कल्चर का विरोध, सप्त सागर और 84 महादेव का विकास, युवाओं व महिलाओं को रोजगार व किसानों को खाद बिजली व उपज का उचित मूल्य, निःशुल्क शिक्षा, निःशुल्क न्याय और निःशुल्क चिकित्सा इस समाज के कल्याण के लिए अति आवश्यक है। डॉ. अवधेशपुरी महाराज ने राजनेताओं का ध्यान इस ओर आकर्षित किया है। इसलिए संत समाज उनके साथ है। कहा जा रहा है कि भविष्य में कम से कम सनातन का अगुवा होने का दावा करने वाली भाजपा को राजनीति में संतों की उपेक्षा से बचना चाहिए।

चिंतन बैठक में महामंडलेश्वर और वरिष्ठ साधु-संतों ने रखी अपनी बात

शांति स्वरूपानंद महाराज, महामंडलेश्वर, चार धाम मंदिर ने कहा कि अवधेशपुरी जी ने जो हिम्मत की है वह एक अच्छा प्रयास है, अच्छी हिम्मत है। इस बहाने प्रदेश की सरकार को यह सोचने को मजबूर होना पड़ेगा कि साधु-संत भी अब पीछे नहीं हैं। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी से संतों ने सीख ली है कि योगी जी देश में अच्छा काम कर सकते हैं। तो हम भी देश में अच्छा कार्य करने के लिए समर्पित हैं।

महामंडलेश्वर ज्ञानदास महाराज ने कहा कि अवधेशपुरी महाराज जो कार्य कर रहे हैं। वह संतों व जनता के हित की बात कर रहे हैं। वह बहुत ही अच्छा कार्य कर रहे हैं और ऐसा होना भी चाहिए। इस कार्य में सभी संत उनका सहयोग करेंगे।

विद्यापुरी महाराज ने कहा कि महाराज जी के साथ हम सब एकजुट हैं। मैं भी उज्जैन के सभी साधु-संतों को इकट्ठा कर रहा हूं। संतों का मान सम्मान जरूरी है। महाकाल मंदिर में संतों को रोक दिया जाता है। दर्शन नहीं करने दिए जाते हैं। बाबा महाकाल के ठीक से दर्शन हों। डॉ. अवधेशपुरी महाराज के साथ हम कंधे से कंधा मिलाकर कार्य करेंगे।

कृष्णा गिरी महाराज ने कहा कि मध्यप्रदेश में कहीं भी भाजपा सरकार ने संतों को आगे नहीं रखा है। जो भी प्रचार बीजेपी करती है बस साधु-संतों को मंच पर बुला लिया जाता है। लेकिन जब चुनाव आता है तो संतों को पीछे धकेल दिया जाता है। अवधेशपुरी महाराज ने जो कदम उठाया है, वह बिल्कुल सही है।

नारायण स्वामी ने कहा कि संतों का प्रतिनिधित्व करने के लिए अवधेशपुरी महाराज ने जो निर्णय लिया है। वह बिल्कुल सही है। हम सब अवधेशपुरी जी के साथ हैं।

कमलेश ब्रह्मचारी महाराज ने कहा कि अवधेशपुरी महाराज जी जो कि निर्दलीय चुनाव लड़ रहे हैं। उनके इस निर्णय में हम सब उनके साथ हैं।



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