
पुलिस और क्राइम ब्रांच टीम
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विधानसभा चुनाव को दृष्टिगत रखते हुए ग्वालियर पुलिस द्वारा पुलिस अधीक्षक ग्वालियर राजेश सिंह चंदेल (भापुसे) के निर्देश पर जिले में अवैध मादक पदार्थो व अवैध शराब की खरीद-फरोख्त करने वालों के विरूद्ध लगातार प्रभावी कार्रवाई की जा रही है। 27/28 अक्तूबर की दरम्यानी रात पुलिस अधीक्षक ग्वालियर को जरिए मुखबिर सूचना प्राप्त हुई कि कुछ गांजा तस्कर उड़ीसा से ट्रक में गांजा लेकर ग्वालियर की तरफ आ रहे हैं। एक स्कार्पियो भी ट्रक के साथ चल रही है, जिसमें बैठे लोग रोड पर पुलिस की उपस्थित से ट्रक चालक को अवगत कराते जाते हैं। सूचना पर पुलिस अधीक्षक ग्वालियर ने क्राइम ब्रांच व थाना महाराजपुरा पुलिस की संयुक्त टीम बनाकर सूचना की तस्दीक कर गांजा तस्करों को पकड़ने के लिए निर्देशित किया।
वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के निर्देशों पर क्राइम ब्रांच व थाना महाराजपुरा पुलिस की संयुक्त टीमों को मुखबिर के बताए स्थान लक्ष्मनगढ़ पुल के पास एबी रोड बाइपास ग्वालियर पर पुलिस की दो टीमें बनाकर चेकिंग प्रारम्भ की गई। पुलिस टीम को कुछ समय बाद मुखबिर के बताए अनुसार एक ट्रक क्रमांक एमपी-06 एचसी-1934 आता दिखा, जिसे पुलिस टीम द्वारा रोका गया तो ट्रक चला रहे चालक द्वारा मौके से भागने का प्रयास किया। लेकिन पुलिस टीम द्वारा भाग रहे ट्रक चालक को घेराबंदी कर पकड़ लिया गया। नाम पता पूछने पर उसने स्वयं को ग्राम कुंदेर तहसील रूपवास थाना उच्चैन जिला भरतपुर राजस्थान का होना बताया।
पुलिस द्वारा की गई पूछताछ में उसने बताया कि ट्रक व गांजे के मालिक मेरे पीछे काले रंग की स्कार्पियो क्रमांक यूपी-80 डीए-3757 से आ रहे हैं। पुलिस की टीमों द्वारा दोबारा चेकिंग नाकाबंदी लगाई गई तो कुछ समय बाद एक काले रंग की स्कार्पियो आती दिखी, जिसने पुलिस चेकिंग को देखकर स्कार्पियो वापस लौटाने का प्रयास किया। लेकिन पुलिस टीम द्वारा स्कार्पियो को घेराबंदी कर पकड़ लिया गया। चेक करने पर स्कार्पियो में तीन लोग बैठे मिले, जिनसे नाम पता पूछने पर एक ने नर्सरी रोड गोविन्दनगर, थाना निहालगंज, धौलपुर राजस्थान, दूसरे ने सरोज बिहार कालोनी कैलाश मंदिर रोड सिकन्दरा आगरा तथा तीसरे व्यक्ति ने अपना पता ग्राम तोंस थाना जैत जिला मथुरा का रहने वाला बताया।
मुखबिर सूचना की तस्दीक हेतु उपरोक्त दोनों वाहनों को पुलिस टीम द्वारा बारीकी से चेक किया गया तो ट्रक की तलाशी लेने पर ड्राइवर द्वारा बताए गये केबिन के पीछे बने गोपनीय चैंबर में ब्राउन रंग (मटमैला) के 65 पैकेट रखे होना पाए गए, जिसे ट्रक ड्राइवर द्वारा गांजा होना बताया। इसी प्रकार स्कार्पियो की तलाशी लेने पर गाड़ी की डिग्गी में ब्राउन रंग (मटमैला) के 12 पैकेट रखे होना पाए। इस प्रकार दोनों वाहनों में पुलिस को कुल 77 गांजे से भरे हुए पैकेट मिले। प्रत्येक पैकेट की पृथक-पृथक तौल कराने पर कुल 467.23 किलोग्राम गांजा पाया गया, जिसकी अनुमानित कीमत लगभग 50 लाख रुपये है। पुलिस टीम द्वारा गांजा सहित ट्रक व स्कार्पियो को जब्त किया गया। कुल जब्त किया गया मशरूका ट्रक कीमती लगभग 30 लाख एवं स्कार्पियो कीमती लगभग 10 लाख कुल कीमती मशरूका 90 लाख का विधिवत जब्त किया गया।
पकड़े गए तस्करों से पुलिस टीम द्वारा पूछताछ की गई तो उन्होंने बताया कि उड़ीसा से ट्रक को माल सहित लेकर आने पर रास्ते में गांजा सरगना अपनी स्कार्पियो को ट्रक के आगे-आगे स्कॉड कर चलाता था और रोड पर पुलिस की उपस्थित के संबंध में ट्रक चालक को सूचित करता रहता था। जिससे ट्रक चालक ट्रक को रोड किनारे लगाकर रूक जाता था और जब पुलिस की चेकिंग समाप्त हो जाती थी, उसके बाद आगे बढ़ते थे। पकड़े गए चार तस्करों में दो ड्राइवर हैं तथा एक गांजा सरगना पर थाना घाटीगांव में लूट का मामला वर्ष 2016 से दर्ज है, जिसमें वह फरार चल रहा था और उस पर पुलिस अधीक्षक ग्वालियर द्वारा पांच हजार रुपये का भी इनाम घोषित है।
गांजा तस्करी में दो सरगना हैं, जो कि पार्टनरशिप में गांजा उड़ीसा से लेकर आते थे। उक्त दोनों गांजा सरगना फ्लाइट से उड़ीसा जाते थे और वहां से माल की डील एवं पैसे देकर माल ट्रक में लोड कर वापस फ्लाइट से आ जाते थे। उसके बाद जब ट्रक नजदीक आ जाता था तो यह लोग स्कार्पियो लेकर ट्रक को स्क्वॉड करते थे एवं रास्ते में अपने ग्राहकों को माल देने के लिए कुछ माल अपनी स्कार्पियो में रख लेते थे।
ग्वालियर पुलिस उक्त गांजा तस्करों के मुख्य सरगना को काफी समय से तलाश कर रही थी। लेकिन हर बार पुलिस के चंगुल में आने से बच जाता था। लेकिन इस बार उसकी नई तकनीक भी काम नहीं आई और उसके साथी सहित वह भी पुलिस की गिरफ्त में आ गया। उनके द्वारा उक्त गांजे को मध्यप्रदेश के ग्वालियर, मुरैना, भिंड, श्योपुर, राजस्थान के धौलपुर, करौली, भरतपुर, उत्तर प्रदेश के आगरा, मथुरा, मैनपुरी, इटावा इत्यादि जिलों में सप्लाई करते थे, जिससे नशे का कारोबार फलफूल रहा था और यह लोग नशे के सौदागर बन लाखों-करोड़ों रुपये कमा रहे थे।
पुलिस द्वारा विवेचना के दौरान इनके द्वारा अर्जित की गई अवैध सम्पत्ति की जानकारी लेकर उस पर वैधानिक कार्रवाई की जाएगी। पकड़ा गया ट्रक चालक पूर्व में आंध्रप्रदेश में भी गांजा तस्करी में पकड़ा जा चुका है। थाना महाराजपुरा पुलिस द्वारा गिरफ्तार किये गये चार गांजा तस्करों के खिलाफ धारा 8/20 एनडीपीएस का प्रकरण पंजीबद्ध कर गांजे की तस्करी में शामिल अन्य लोगों के संबंध में पूछताछ की जा रही है।
पुलिस से बचाने के लिए तकनीक अपनाई
गांजा तस्करों ने पुलिस से बचने के लिए तकनीक अपनाते थे, यह लोग स्कार्पियो को ट्रक से 8-10 किलोमीटर आगे चलाते थे और जैसे ही कहीं पुलिस की चेकिंग नजर आती तो वह लोग ट्रक को पीछे ही रूकवा देते थे और जब तक पुलिस की चेकिंग चलती थी, ट्रक पीछे खड़ा रहता था। जब पुलिस चेकिंग समाप्त हो जाती थी तो सुरक्षित होने पर ट्रक को आगे बढ़ते थे।
मध्यप्रदेश, उत्तर प्रदेश एवं राजस्थान तक सप्लाई
पुलिस द्वारा पकड़े गये गांजा तस्करों से पूछताछ में ज्ञात हुआ कि वह उड़ीसा से गांजा लेकर मध्यप्रदेश के ग्वालियर, मुरैना, भिण्ड, श्योपुर, राजस्थान के धौलपुर, करौली, भरतपुर, उत्तर प्रदेश के आगरा, मथुरा, मैनपुरी, इटावा इत्यादि जिलों में सप्लाई की जाती थी।