MP Election 2023: PM Modi will be on Chambal tour on Gandhi Jayanti, will give mantra of victory to leaders an

कल ग्वालियर दौरे पर रहेंगे पीएम
– फोटो : अमर उजाला

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मध्यप्रदेश में भाजपा इस बार विधानसभा चुनाव किसी भी सूरत में हारना नहीं चाहती, यही कारण है कि प्रदेश स्तर से लेकर केंद्रीय नेतृत्व लगातार एड़ी-चोटी का जोर लगा रहा है। इस चुनावी साल में पीएम मोदी भी लगातार एमपी का दौरा कर रहे हैं। मालवा और बुंदेलखंड के बाद अब पीएम मोदी चंबल का दौरा करने जा रहे है। एमपी के सबसे बड़े राजनैतिक केंद्र ग्वालियर चंबल में पीएम मोदी पार्टी को मुसीबत से निकालने के लिए नेताओं को जीत का मंत्र देंगे, लेकिन पीएम मोदी के दौरे को लेकर यही सवाल उठा रहा है कि अमित शाह के बाद क्या मोदी अंचल में बीजेपी को मुसीबत से निकाल पाएंगे।

दरअसल ग्वालियर चंबल अंचल में देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पहली बार दौरे पर आ रहे हैं। इससे पहले राजनीति के चाणक्य कहे जाने वाले केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह दो बार दौरे कर चुके हैं। अभी हाल में ही वह प्रदेश कार्यसमिति की बैठक में शामिल हुए और ग्वालियर चंबल अंचल में चल रही गुटबाजी और नाराजगी को दूर करने के लिए नेताओं और कार्यकर्ताओं से बातचीत की, लेकिन अमित शाह के दौरे के बाद भी यहां पर बीजेपी के लिए कोई अनुकूल स्थिति नहीं बन पाई है और लगातार पार्टी के नेताओं में आपसी खींचतान और कार्यकर्ताओं में नाराजगी पार्टी के लिए एक बड़ा सिर दर्द बन चुकी है। यही कारण है कि अंचल के दोनों दिग्गज सिंधिया और तोमर के अलावा कई ऐसे बड़े नेता हैं जो यहां पर लगातार दौरा कर आपसी सामंजस्य बैठने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन ग्वालियर चंबल अंचल में बीजेपी के नेताओं की यह मेहनत और रणनीति काम आती नहीं दिखाई दे रही है, इसलिए पार्टी के वरिष्ठ नेतृत्व की नजर अब ग्वालियर चंबल अंचल पर है।

भाजपा को पता है कि मध्यप्रदेश में सत्ता का रास्ता ग्वालियर चंबल से होकर गुजरता है और इसका नतीजा वह पिछले 2018 के विधानसभा चुनाव में देख चुके हैं। साल 2018 में इसी ग्वालियर चंबल अंचल के कारण भाजपा को मध्य प्रदेश से अपनी सत्ता गंवानी पड़ी। ग्वालियर चंबल अंचल की 34 सीटों में से महज 6 सीटों पर भाजपा जीत पाई और 26 सीटें जीतकर कांग्रेस ने मध्य प्रदेश में सत्ता हासिल की थी। भाजपा को अब यही डर है कि साल 2018 के विधानसभा चुनाव जैसे हालत फिर से ग्वालियर चंबल चंचल में ना हो जाए। यही कारण है कि भाजपा मध्य प्रदेश के बाकी इलाके से ग्वालियर चंबल अंचल में एड़ी और चोटी का जोर लगा रही है। इसलिए यहां पर केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया और नरेंद्र सिंह तोमर के अलावा अमित शाह और खुद पीएम नरेंद्र मोदी नजर बनाए हुए हैं। अभी हाल में ही भाजपा ने प्रदेश कार्य समिति की अंतिम बैठक ग्वालियर में रखी थी, जिसमें प्रदेश के अलावा ग्वालियर चंबल अंचल की सभी मंत्री, विधायक, पूर्व विधायक, जिला अध्यक्ष सहित तमाम पदाधिकारी पदाधिकारी शामिल हुए, जिसमें अमित शाह ने नेताओं से कहा था कि गुटबाजी और नाराजगी को छोड़कर मध्य प्रदेश में प्रचंड बहुमत से सरकार बनानी है।

केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के आदेश के बावजूद भी यहां पर स्थिति जस की तरह बनी हुई है। यही कारण है कि भाजपा को भी लग रहा है कि ग्वालियर चंबल अंचल में उनकी स्थिति ठीक नहीं है और इसका सबसे बड़ा कारण महाराज भाजपा और नाराज भाजपा है। दोनों के बीच चल रही खींचतान के कारण यहां कार्यकर्ता भी ज्यादा रुचि नहीं दिख रहा है। इसके अलावा केंद्रीय मंत्री सिंधिया और केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर के बीच लगातार गुट बड़ी हावी है और इसका भी असर पार्टी को दिखाई दे रहा है। वहीं, इस चुनाव में कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल हुए सिंधिया समर्थकों को भी पार्टी ने टिकटों में आगे रखा है और जो लोग पहले से ही टिकट के लिए आस लगाए बैठे नेता अब अपना दूसरा रास्ता खोजने लगे हैं। ऐसे नेता या तो पार्टी छोड़कर किसी दूसरे पार्टी की टिकट पर चुनाव लड़ेंगे या फिर अंदर ही अंदर पार्टी को नुकसान पहुंचाने का काम करेंगे।

ग्वालियर चंबल अंचल के दिग्गज नेताओं का जादू बेअसर होने के बाद अब मोदी जादू दिखाने के लिए ग्वालियर चंबल अंचल के दौरे पर आ रहे हैं। पीएम नरेंद्र मोदी का ग्वालियर चंबल अंचल में यह पहला दौरा है इसलिए पार्टी के नेता कार्यकर्ता और लोगों में काफी उत्साह भी दिखाई दे रहा है लेकिन सबसे बड़ी बात यह है कि अंचल में पार्टी को मुसीबत से निकालने के लिए पीएम मोदी का यह जीत का मंत्र इस ग्वालियर चंबल अंचल को कितना फायदा पहुंचाएगा, चुनाव परिणाम आने के बाद ही पता लग पाएगा।

पीएम नरेंद्र मोदी के दौरे को लेकर भाजपा के सांसद विवेक नारायण सेजवलकर कहते हैं कि ग्वालियर चंबल अंचल में पीएम मोदी का यह पहला दौरा है और लोग उन्हें सुनने और उनके स्वागत के लिए हजारों की संख्या में इकट्ठे होंगे। साथ ही उनका कहना है कि देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कार्यक्रम से कार्यकर्ताओं का उत्साह बढ़ता है और  जनता के बीच भी एक अच्छा मैसेज जाता है। निश्चित ही इस आगामी विधानसभा चुनाव में इसका पार्टी को फायदा मिलेगा। 

वहीं, पीएम नरेंद्र मोदी की दौरे को लेकर कांग्रेस भी लगातार तंज कस रही है। कांग्रेस के प्रदेश उपाध्यक्ष आरपी सिंह का कहना है कि मध्य प्रदेश में बार-बार पीएम नरेंद्र मोदी जी का आना यह दर्शाता है कि शिवराज के साथ-साथ मंत्री यहां अपनी साख खो चुके हैं। भारतीय जनता पार्टी एक प्राइवेट लिमिटेड की तरह काम कर रही है, इसके दो लोग मालिक हैं पीएम नरेंद्र मोदी और अमित शाह। इन दोनों ने ही चुनाव की कमान अपने हाथों में ले ली है क्योंकि यहां के नेताओं पर उनका विश्वास नहीं रहा है। इस से स्पष्ट हो जाता है कि उन्हें हार की इतनी हताश है कि उन्होंने अपनी केंद्रीय मंत्रियों को ही विधानसभा चुनाव में उतार दिया है लेकिन यह कुछ भी कर लें लेकिन मध्य प्रदेश में अबकी बार भाजपा की एक तरफा हार होगी।



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