
केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह इंदौर में।
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केंद्रीय विज्ञान मंत्री जितेंद्र सिंह शुक्रवार को ई गवर्नेंस कार्यक्रम के सिलसिले में इंदौर आए थे। उन्होंने मीडिया से भी चर्चा की। मंत्री सिंह ने कहा कि भारत की किसी दूसरे देश से रेस नहीं है। हम अपने रणनीतिक उद्देश्यों के कारण स्पेश मिशन में आगे बढ़ रहे है। चन्द्रयान मिशन की कामयाबी का श्रेय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नीतियों तथा भारत के वैज्ञानिकों को देते हुए सिंह ने कहा कि सितंबर के पहले हफ्ते में आदित्य मिशन को लांच किया जा सकता है जो सूर्य का अध्ययन करेगा।
उनसे सवाल पूछा गया कि आखिर रूस और अमेरिका जैसे देश हजारों करोड रुपए खर्च कर स्पेस मिशन पर काम करते हैं लेकिन भारत इतने कम खर्चे में कैसे मैनेज करता है। इस पर केंद्रीय मंत्री सिंह ने कहा कि हम किसी तरह की रेस में शामिल नहीं है बल्कि भारत अपने रणनीतिक उद्देश्यों के तहत स्पेस मिशन को आगे बढ़ा रहा है। देश में जब कोई महत्वपूर्ण मिशन पर काम हो रहा होता है तो कई रिटायर्ड कर्मचारी, वैज्ञानिक स्वेच्छा से मदद करते हैं जो भारत के स्पेस मिशन की लागत कम कर देता है।
उनसे पूछा गया कि स्पेश मिशन आम आदमी पर क्या प्रभाव डालेगा? इस सवाल पर वे बोले कि-घरों में आने वाला केबल चैनल, मोबाइल फोन पर बात, कैशलेस पेमेंट से लेकर आम व्यक्ति के जीवन को प्रभावित करने वाले कई चीजे स्पेस मिशन से जुड़ी है। इन क्षेत्रों में बेहतर काम होगा।
उन्होंने बताया कि लोकसभा में अनुसंधान के लिए नेशनल रिसर्च फाउंडेशन बिल पास किया गया। जिसके अंतर्गत पचास हजार करोड रुपए का फंड रखा गया है। सरकार तथा निजी क्षेत्र मिलकर रिसर्च एंड डेवलपमेंट पर यह राशि खर्च करेंगे। नेशनल रिसर्च फाउंडेशन ऐसा विषय है जिस पर विपक्ष के हंगामे के कारण चर्चा नहीं हो पाई थी। केंद्रीय मंत्री ने इस बिल को भारत के भविष्य के लिहाज से बेहद महत्वपूर्ण बताया। मंत्री जितेंद्र सिंह के साथ सांसद शंकर लालवानी भी मौजूद थे।