Samandar Patel returns home, left Scindia faction, joined Congress

संमदर पटेल फिर हुए कांग्रेसी
– फोटो : amar ujala digital

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मध्य प्रदेश के जावद विधानसभा क्षेत्र से वर्ष 2018 में निर्दलीय प्रत्याशी के रुप में चुनाव लड़े समंदर पटेल ने भाजपा से नाता तोड़ लिया है। उन्होंने फिर कांग्रेस का दामन थाम लिया है। 18 अगस्त को भोपाल में प्रदेश कांग्रेस कार्यालय जाकर विधिवत सदस्यता लेंगे। मालवा क्षेत्र से दीपक जोशी के बाद भाजपा को दूसरा बड़ा झटका लगा है। कांग्रेस इस बार विधानसभा चुनाव में इंदौर निवासी संमदर पटेल को अपना उम्मीदवार बना सकती है।

 

समंदर पटेल ने भाजपा छोड़ने की वजह बताते हुए कहा कि वे राजनीति में रहकर कार्यकर्ताअेां की मदद नहीं कर पा रहे थे। कार्यकर्ता उनके पास आते थे,लेकिन उन्हें निराश लौटना पड़ता था। उन्हें आर्थिक नुकसान पहुंचाया जा रहा था। पटेल ने मंत्री अेाम प्रकाश सकलेजा पर आरोप लगाया कि मंत्री और उनकी चांडाल चौकड़ी से जावद की जनता और कार्यकर्ता परेशान है। टिकट से जुड़े सवाल पर उन्होंने कहा कि टिकट का फैसला कांग्रेस पार्टी को करना है। मुझे मौका मिला तो दमदारी से लडूंगा।  

मंत्री सिर्फ अपने कुछ समर्थकों के ही घर भर रहे है। उनके खिलाफ शिकायत करने पर उपर से लेकर नीचे तक सुनवाई नहीं होती। वे खुद के विधानसभा क्षेत्र में एक उद्योग नहीं लगा पाए। पटेल ने कहा कि अब मैं कांग्रेस के साथ मंत्री सकलेचा से लोहा लूंगा।

सिंधिया के साथ आए थे भाजपा में

समंदर पटेल की गिनती केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया के खास समर्थकों में होती है। वे उनके साथ ही कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल हुए थे,लेकिन साढ़े तीन साल बाद फिर उन्होंने कांग्रेस का दामन थाम लिया। उन्होंने अपने फेसबुक अकाउंट की प्रोफाइल पिक्चर भी बदल ली और वाट्सअप डीपी पर भी वे कांग्रेस के चुनाव चिन्ह के साथ नजर आ रहे है।

पिछले चुनाव में उन्होंने कांग्रेस से टिकट मांगा था, लेकिन पार्टी ने उन्हें नहीं दिया। उन्होंने कांग्रेस से बगावत कर चुनाव लड़ा था और 30 हजार से ज्यादा वोट उन्हें मिले थे। उनके निर्दलीय खड़े होने के कारण कांग्रेस को हार का सामना करना पड़ा था।   



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