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Fear of untoward incident in Khatara buses in summer

रोडवेज बस में चालक की सीट पर तारों का जाल
– फोटो : अमर उजाला

विस्तार

रोडवेज बसों में चालक की सीट के नीचे तारों का जर्जर जाल फैला है, जिससे गर्मी में अनहोनी होने का डर बना रहता है। अधिकांश बसों में जुगाड़ से लाइट व अन्य उपकरणों का संचालन होता है। निगम स्तर से गर्मी के मौसम में इंजन हीट को ध्यान में रखते हुए दुर्घटनाओं को रोकने के निर्देश दिए गए हैं।

हाथरस डिपो में वर्तमान में 68 बसें हैं। डिपो में जितनी भी पुरानी बसें हैं अधिकांश बसों में तारों के रख रखाव पर ध्यान नहीं दिया जा रहा है। आग बुझाने के लिए लगे अग्निशमन यंत्रों की हालत सही नहीं है। क्योंकि उनकी समय पर टेस्टिंग नहीं की जाती है। इस कारण आग बुझाने के इंतजाम भी नाकाफी है। अक्सर इन बसों में तारों का जाल रहता है और ऐसे में जिससे शार्ट-सर्किट से आग लगने की आशंका रहती है। साथ ही चालकों को भी बस चलाने के दौरान अनहोनी का डर सताता है। इस मामले में आरएम सतेंद्र वर्मा का कहना है कि संबंधित एआरएम को वायरिंग को दुरुस्त करने के लिए निर्देश दिए गए हैं। गर्मी के मौसम में अग्निशमन यंत्र आदि दुरुस्त रखने के लिए कहा गया है।

गर्मी के मौसम में रोडवेज प्रशासन को अग्निशमन यंत्र व आपात खिड़की को सही रखा चाहिए। क्योंकि गर्मी आग लगने की घटन होने की आशंका बनी रहती है। जहां वायरिंग खराब है उसे सही कराना चाहिए। ताकि यात्री सुरक्षित सफर करें। -सलमान यात्री

अब तापमान भी बढ़ रहा है। बसों के संचालन के दौरान इंजन भी हीट हो रहे हैं। इसलिए अधिकारियों को बसों का निरीक्षण करने के साथ खामियां दूर करने पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है। -प्रदीप रावत, यात्री



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